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नोबेल पुरस्कार की वैश्विकता शुरू से संदिग्ध

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विचार : 2019 का नोबेल शांति पुरस्कार इथोपिया के प्रधानमंत्री अबी अहमद को दिया जायेगा, उन्हें यह सम्मान अंतरराष्ट्रीय सहयोग और शत्रु देश इरीट्रिया के साथ शांति स्थापित करने के लिए दिया जा रहा है। उन्होंने इरीट्रिया के साथ दो दशक से जारी संघर्ष को खत्म करते हुए शांति स्थापित करने में अहम भूमिका निभायी है। स्थगित वर्ष 2018 के साथ 2019 के विजेता की भी घोषणा की गई है। पोलैंड की लेखिका ओल्गा तोकारजुक को 2018 के लिए जबकि ऑस्ट्रियाई लेखक पीटर हैंडके को 2019 के लिए पुरस्कृत किए जाने की घोषणा की गई। माना जा रहा था कि पिछले साल हुए विस्फोटक विवाद के बाद नोबेल कमिटी बेहद सतर्क होकर विजेता चुनेगी और इस पुरस्कार की साख को जो बट्टा लगा है, उसकी भरपाई करने की कोशिश करेगी। लेकिन विजेताओं के नाम इसकी तस्दीक नहीं करते। यह तो नहीं कहा जा सकता कि ये लोग कमतर लेखक हैं और पुरस्कार के लायक नहीं हैं लेकिन इनके नाम पर बस संतोष ही किया जा सकता है। दरअसल कुछ नाम ऐसी चमक लिए होते हैं जिन पर एक आम सहमति सी होती है। ऐेसे लोगों को पुरस्कृत करने से पुरस्कार की गरिमा बढ़ती है। इस बार लग रहा था कि पुरस्कार के लिए ...

श्रेष्ठ विचारों वाले चरित्रवान और समर्पित स्वयंसेवक तैयार करने में विश्वास रखता है राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ

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 विचार : राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के सरसंघचालक ने कहा कि भारत के लोग विविध संस्कृति, भाषाओं, भौगोलिक स्थानों के बावजूद खुद को एक मानते हैं। भागवत ने कहा कि एकता के इस अनूठे अहसास के कारण मुस्लिम, पारसी और अन्य जैसे धर्मों से संबंधित लोग देश में सुरक्षित महसूस करते हैं। उन्होंने कहा कि पारसी भारत में काफी सुरक्षित हैं और मुस्लिम भी खुश हैं। भागवत ने कहा कि समाज में बदलाव लाने की दिशा में उन्होंने कहा कि सही तरीका यह है कि ऐसे उत्कृष्ट इंसान तैयार किये जाए जो समाज को बदलने तथा देश की कायापलट करने में महत्वपूर्ण भूमिका अदा कर सके क्योंकि 130 करोड़ लोगों को एकसाथ बदलना मुमकिन नहीं होगा। राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ प्रमुख ने कहा कि समाज में बदलाव लाना जरूरी है ताकि देश की किस्मत बदले और इसके लिए उत्कृष्ट इंसान तैयार करना आवश्यक है, ऐसा इंसान जिसका साफ-सुथरा चरित्र हो और जो प्रत्येक सड़क और शहर में नेतृत्व करने में सक्षम हो। ओडिशा की राजधानी भुवनेश्वर में संघ की अखिल भारतीय कार्यकारिणी की बैठक में भाग लेने नौ दिवसीय दौरे पर पहुंचे मोहन भागवत ने बुद्धिजीवियों से बातचीत भी की। संघ की राष्...

उत्साह से मनाया जा रहा विजयदशमी, 26 अक्टूबर को अयोध्या में जलेंगे साढ़े पांच लाख दीप

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विचार : देश में आज यानि युगाब्ध 5121, विक्रम संवत 2076, अश्विन माह शुक्ल पक्ष दशमी को विजयदशमी का पर्व उत्साह से मनाया जा रहा है। शाम चार—पांच बजे तक रावण को दहन ​किये जाने की उम्मीद है। उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ में विजयदशमी पर जगह—जगह मेले लगे हैं। शाम को रावण दहन होगा, जिसमें भारी भीड़ उमड़ने की उम्मीद है। वहीं दूसरी ओर राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ ने 94वीं वर्षगांठ मनायी। राष्ट्रीय स्वयंसेवक के मुख्यालय में सर संघचालक मोहन भागवत ने शस्त्र पूजन किया। इसके बाद स्वयंसेवकों ने पथ संचलन किया, जिसमें दिग्गज नेता और केंद्रीय मंत्री समेत बड़ी संख्या में लोगों ने हिस्सा लिया। स्वयंसेवकों को सम्बोधित करते हुए मोहन भागवत ने मॉब लिंचिंग (भीड़ द्वारा पीट-पीटकर हत्या) की घटनाओं का जिक्र किया। भागवत ने कहा कि लिंचिंग जैसी घटनाओं से संघ का कोई लेना-देना नहीं है। भीड़ हत्या (लिंचिंग) पश्चिमी तरीका है और देश को बदनाम करने के लिए भारत के संदर्भ में इसका इस्तेमाल नहीं किया जाना चाहिए। मोहन भागवत ने कहा कि ऐसी घटनाओं को रोकना हर किसी की जिम्मेदारी है। कानून व्यवस्था की सीमा का उल्लंघन कर हिंसा की प्रव...

साधु ही सबसे बड़ा पद

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बोधकथा : एक साधु वन में आश्रम बनाकर रहता था। अकेले रहने के कई फायदे हैं, तो कई तरह की कठिनाइयां भी हैं। भिक्षा मांगकर लाना, साफ-सफाई, पानी की व्यवस्था, झोंपड़े की देखरेख, सब कुछ स्वयं करना पड़ता है। मन में भावना रहती कि कोई चेला मिल जाए तो काम में मदद करे। एक दिन कहीं से घूमता-फिरता एक लड़का बाबा के आश्रम में पहुंचा। बाबा ने स्नेह से उससे बात की। मीठा गुड़ दिया, ठंडा पानी पिलाया और कहा, कि दुनिया बड़ी स्वार्थी है। क्या रखा है घर-गृहस्थी में? छोड़ो सब जंजाल और मेरे पास आ जाओ। मैं तुम्हें अपना चेला बना लूंगा। बाबा की बात लड़के को अच्छी लगी, लेकिन चेला का मतलब वह नहीं जानता था। पूछा, 'बाबा! यह चेला क्या होता है?' साधु ने कहा, 'यह भी तुम नहीं जानते, भोले हो। एक होता है गुरू जो आदेश देता है और एक होता है चेला, जो गुरू के आदेश को शिरोधार्य कर हुक्म बजाता है।' लड़के ने कहा, 'बाबा! मुझे सोचने का अवसर दें।' बाबा ने समझा काम बन गया। लड़का चेला बनना मंजूर कर लेगा। लड़के ने दो क्षण पता नहीं क्या सोचा, फिर बोला, 'बाबा, मैंने अच्छी तरह से विचार कर लिया। गुरू बनाना चाहो...

खुद से लड़ रही है कांग्रेस

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विश्ललेषण : विधानसभा चुनाव के लिये टिकट वितरण से उपजे आक्रोश के बीच हुए हाई वोल्टेज ड्रामे से तो यही लगता है कि कांग्रेस भाजपा से लडऩे से पहले पार्टी के भीतर ही जूझ रही है। नि:संदेह सत्ता से बाहर रहने की तड़पन के बीच पिछले पांच सालों में पार्टी के भीतर जारी उठापटक जब-तब उजागर हुई। पिछले दिनों तो यह सतह पर आ गई थी। फिर केंद्रीय नेतृत्व की दखल के बाद राज्य के पार्टी नेतृत्व में परिवर्तन किया गया। कमोबेश पार्टी में सत्ता के दो केंद्र बनते नजर आए। एक को पार्टी की बागडोर दी गई तो दूसरे को पार्टी का खेवनहार बनाया गया। जाहिर है टिकट वितरण में नये नेतृत्व की ही चलनी थी। यह उम्मीद तो थी कि पूर्व अध्यक्ष अशोक तंवर के समर्थक टिकट न मिलने पर प्रलाप करेंगे। मगर यह उम्मीद न थी कि यह कड़वाहट सड़क पर आ जायेगी। अशोक तंवर द्वारा अपने समर्थकों के साथ पार्टी के केंद्रीय मुख्यालय पर धरना-प्रदर्शन और सार्वजनिक तौर पर मोटी रकम लेकर टिकट बांटने का आरोप निश्चय ही पार्टी की साख को बट्टा लगाने वाला है। यह तथ्य किसी से छिपा नहीं है कि पार्टियां टिकट देने में मोटा लेनदेन करती हैं, लेकिन इस बात की सार्वजनिक अभ...

बदल रहा है रेलवे

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विचार : रेलवे ने अपने ढांचे और सेवाओं को चुस्त-दुरुस्त, स्मार्ट और प्रफेशनल बनाने में जुट गई है। रेलवे स्टेशनों को स्वच्छ और सुंदर बनाने की पहल के बाद यात्रियों को विश्वस्तरीय सुविधाएं उपलब्ध कराने के लिए प्राइवेट ट्रेन की शुरुआत की गई है। स्टेशनों का हाल सुधारने के लिए रेलवे वर्ष 2016 से इनका थर्ड पार्टी से लेखा परीक्षण और स्वच्छता रैंकिंग करा रही है। इस बार के सर्वेक्षण में राजस्थान के तीन रेलवे स्टेशनों जयपुर, जोधपुर और दुर्गापुरा को शीर्ष स्थान मिला है। उपनगरीय स्टेशनों की श्रेणी में मुंबई के अंधेरी, विरार और नायगांव स्टेशन टॉप पोजिशन पर रहे। इस सर्वे की वजह से सभी स्टेशनों के अधिकारियों में एक स्वस्थ प्रतियोगिता चल रही है जिसका लाभ यात्रियों को मिल रहा है। जहां तक रेलयात्रियों को प्राइवेट सेक्टर की दक्षता का लाभ देने का सवाल है तो देश की पहली प्राइवेट ट्रेन तेजस एक्सप्रेस पटरी पर दौडऩे लगी है। उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने शुक्रवार को लखनऊ में इस ट्रेन को हरी झंडी दिखाई। लखनऊ से दिल्ली के बीच चलने वाली देश की इस पहली कॉरपोरेट ट्रेन में कई नए प्रयोग किए गए हैं। ट...

चेहरे को बेदाग बनाने में कारगर है एलोवेरा

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जीवनशैली : चेहरे के लिए एलोवेरा एक ऐसी औषधि है जो उसकी अच्छी तरह से देखभाल करता है. वहीं एलोवेरा का सेवन करने से पेट से जुड़ी समस्याएं भी समाप्त हो जाती हैं. ये बालों के लिए भी रामबाण का काम करता है. दरअसल एलोवेरा जेल को चेहरे पर लगाकर त्वचा को ग्लोइंग और स्वस्थ बनाया जा सकता है. एलोवेरा स्किन के लिए नेचुरल मॉश्चराइजर का काम करता है. इसे त्वचा पर लगाने से त्वचा में नमी आती है. साथ ही त्वचा को पोषण भी मिलता है. हालांकि एलोवेरा जेल का इस्तेमाल करने से पहले इस बात का जरूर ध्यान रखें कि आपको किसी प्रकार की स्किन एलर्जी न हो. अगर आप अपनी त्वचा में निखार लाना चाहते हैं तो इसके लिए एलोवेरा जेल का उपयोग करना बहुत सही है. ये आपके चेहरे से धूल-मिट्टी, डेड स्किन और गंदगी को साफ करने में काफी मददगार होता है. इससे आपकी स्किन ग्लो करने लगती है और आकर्षक भी दिखने लगती है. एंटी एजिंग गुण से भरपूर एलोवेरा में एंटीऑक्सीडेंट की मात्रा भी मौजूद होती है जो चेहरे से झुर्रियों को हटाने में मदद करता है. हर रोज एलोवेरा जेल का इस्तेमाल करने से लंबे समय तक जवान और खूबसूरत दिखा जा सकता है. सनबर्न की समस्या से...